अगर आपके पास कुछ भी नहीं है तो आप अपनी शाखा से भी एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड बदल सकते है। इसकी पूरी प्रक्रिया नीचे दी हुई है। इसके साथ अगर आप योनो ऐप का इस्तेमाल करते है तो आप अपने योनो ऐप से भी एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड बदल सकते है।

केनरा बैंक एटीएम से पैसा निकालने की लिमिट | Canara Bank ATM withdrawal Limit

केनरा बैंक भारत का प्रमुख सरकारी बैंक है। April 2020 में सिंडिकेट बैंक को भी केनरा बैंक में मिला दिया गया है। सिंडिकेट बैंक के ग्राहकों पर भी अब कैनरा बैंक के नियम लागू होते हैं। इस पोस्ट में हम जानेंगे कि केनरा बैंक के एटीएम से पैसा निकालने की लिमिट क्या है? Canara Bank ATM withdrawal Limit in Hindi. साथ ही केनरा बैंक के एटीएम कार्ड से जुड़ी कुछ अन्य उपयोगी जानकारियों को भी हम इसमें शामिल करेंगे।

केनरा बैंक के सामान्य एटीएम कार्ड से पैसा निकालने की लिमिट 1 दिन में ₹40000 तक होती है। लेकिन इससे एक दिन में ₹100000 तक खर्च किया जा सकता है। ₹100000 तक खर्च करने की लिमिट बिजनेस स्टोरों पर भुगतान के लिए या ऑनलाइन शॉपिंग पर खर्च के लिए या वगैरा के भुगतान के संबंध में होती है। केनरा बैंक मुख्य रूप से चार प्रकार के एटीएम कार्ड जारी करता है।-

केनरा बैंक एटीएम कार्ड खो जाने पर क्या करें? If Debit card is lost or misplaced what should I do?

टोल फ्री नंबर पर कॉल करें: केनरा बैंक का एटीएम कार्ड खो जाने पर बैंक के टोल फ्री नंबर 1800 425 0018 पर कॉल कर सकते हैं। इस पर कॉल करके एटीएम कार्ड को होटलिस्टेड या ब्लॉक कराया जा सकता है। इसके अलावा अपने बैंक की ब्रांच को भी इसकी सूचना दी जानी चाहिए। बैंक की ओर से आपका कार्ड नॉट लिस्टेड या ब्लॉक किए जाने पर इसकी सूचना भी तुरंत आपके मोबाइल पर भेजी जाती है।

एसएमएस भी ब्लॉक करा सकते हैं एटीएम कार्ड:. अब केनरा बैंक के डेबिट कार्ड या एटीएम कार्ड को होटलिस्टेड कराने या ब्लॉक कराने के लिए आप एसएमएस सेवा का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। बैंक अकाउंट में रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर से, इसका s.m.s. आपको बैंक की ओर से जारी नंबर 5607060 पर भेजना चाहिए। एसएमएस लिखने का तरीका इस प्रकार है- CAN HOTLISTDC 4351************89 .यहां पर लास्ट वाले अंको की केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना जगह पर अपना 16 अंकों का डेबिट कार्ड नंबर डालना होता है।

नया एटीएम कार्ड जारी कराने का शुल्क कितना लगता है? What Is Fee for the issuance of Debit card?

केनरा बैंक का जब आप नया अकाउंट खुलवा आते हैं तो आपको एटीएम कार्ड बैंक की ओर से निशुल्क जारी किया जाता है। उसके बाद हर साल एटीएम कार्ड सेवा के लिए आपके अकाउंट से है ₹100+ सर्विस चार्ज कटता है। एटीएम कार्ड के खो जाने पर या खराब हो जाने पर, नया डेबिट कार्ड एटीएम कार्ड जारी कराने पर ₹100 + service tax आपके अकाउंट से कट जाता है। यह शुल्क बैंक के सामान्य केटेगरी वाले डेबिट कार्ड (Classic/Standard) के लिए होती है।

इससे ऊपर प्लैटिनम कैटेगरी के एटीएम कार्ड के लिए वार्षिक शुल्क ₹200+ सर्विस चार्ज होता है। इसके खो जाने या चोरी हो जाने पर दूसरा कार्ड जारी करने का शुल्क ₹150+ सर्विस चार्ज लगता है।

5 तरीको से एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड बदले। Change SBI Profile Password

एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड कैसे बदले

क्या आप जानना चाहते है की एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड कैसे बदले? तो आप बिल्कुल ठीक जगह पर आए है। इस आर्टिकल को पढ़ने के बाद आप अच्छे से समझ जाएंगे की एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड कैसे बदले?

इस आर्टिकल में आपको स्टेप बाय स्टेप बताया जाएगा की एसबीआई प्रोफाइल पासवर्ड कैसे बदले। अगर आप भी यह जानना चाहते है तो इस आर्टिकल को पूरा पढ़े।

प्रोफाइल पासवर्ड एक तरह का ट्रांजैक्शन पासवर्ड होता है जिसके द्वारा आप एसबीआई नेट बैंकिंग या योनो ऐप से वित्तीय लेनदेन या गैर वित्तीय लेनदेन कर सकते है। कई बार बहुत समय तक प्रोफाइल पासवर्ड इस्तेमाल न करने से हम उसे भूल जाते है।

केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना

Virtual Card

स्‍टेट बैंक वर्चुअल कार्ड जिसे इलेक्‍ट्रॉनिक कार्ड या ई-कार्ड भी कहा जाता है, ई-कामर्स लेनदेनों के लिए एक प्रकार का सीमित डेबिट कार्ड है। यह कार्ड बिना प्राथमिक कार्ड/खाते की जानकारी मर्चेन्‍ट को प्रकट किए एक सुविधाजनक एवं सुरक्षित ऑन लाइन लेन-देन की सुविधा उपलब्‍ध कराता है।

वर्चुअल कार्ड ऐसे सभी मर्चेन्‍टों पर प्रयोग में लाया जा सकता है जो कि मास्‍टर कार्ड/वीज़ा ऑनलाइन लेनदेनों को स्‍वीकार करते हैं तथा इसमें एवं नियमित प्‍लास्‍टिक केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना कार्ड में कोई अंतर नहीं है।

इस कार्ड की प्रमुख विशेषताएं निम्‍नानुसार हैं:

सुरक्षा

  • इस कार्ड के प्रयोग से प्राथमिक कार्ड के रूप में क्रेडिट/डेबिट कार्ड को प्रकट करने का जोखिम नहीं रहता क्‍योंकि इनकी सूचना मर्चेन्‍ट के पास नहीं होती है।
  • यह कार्ड अधिकतम 48 घंटों के लिए या लेन-देन के पूर्ण हो जाने की अवधि तक के लिए मान्‍य रहता है, दोनों में से जो भी पहले हो।
  • कार्ड तैयार करने एवं ऑनलाइन लेन-देन को केवल एकबारगी प्राप्‍त होने वाले पासवर्ड (ओटीपी) के सफलतापूर्वक वैधीकरण के बाद ही प्राधिकृत किया जाता है जो कि इस प्रक्रिया के दौरान आपके मोबाइल पर भेजा जाता है।
  • यह कार्ड आपके इंटरनेट बैंकिंग से जुड़े खातों से भुगतान की सुविधा प्रदान करता है जिन पर लेन-देन करने के अधिकार को सक्रिय किया गया है।
  • इस कार्ड को पूर्णांकित रूपये में तैयार किया जा सकता है।
  • कार्ड को ऐसे किसी भी ऑन लाइन मर्चेन्‍ट पर प्रयोग में लाया जा सकता है जो डेबिट /क्रेडिट कार्ड को स्‍वीकार करते हैं।

प्रयोग में सुगम

इस कार्य के लिए अलग से सेट-अप/ इंस्‍टॉलेशन या पंजीकरण की आवश्‍यकता नहीं होती तथा कोई भी ग्राहक जिसके पास इंटरनेट बैंकिंग सुविधा में लेन-देन के अधिकार हैं वह अपना वर्चुअल कार्ड सृजित कर सकता है।

इस कार्ड से भुगतान करने के लिए किसी प्रकार के ब्‍याज का नुकसान नहीं होता है क्‍योंकि यह कार्ड संबद्ध कार्ड को नामे करके ही तैयार किया जाता है एवं राशि का नामे केवल वर्चुअल कार्ड के प्रयोग से वास्‍तविक लेन-देन सफलतापूर्वक पूर्ण हो जाने पर ही किया जाता है।

बैंक अकाउंट खुलवाने और सिम लेने में Aadhaar हुआ स्वैच्छिक, राष्ट्रपति ने अध्यादेश को दी मंजूरी

बैंक अकाउंट खुलवाने और सिम लेने में Aadhaar हुआ स्वैच्छिक, राष्ट्रपति ने अध्यादेश को दी मंजूरी

सितंबर 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने कई चीजों के लिए आधार की अनिवार्यता को खत्म कर दिया था. (PTI)

अब बैंक खाता खुलवाने और मोबाइल सिम कार्ड लेने के लिए आधार (Aadhaar) का ID कार्ड के तौर पर स्वैच्छिक इस्तेमाल किया जा सकेगा. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने आधार के इस तरह के इस्तेमाल को मान्यता देने वाले अध्यादेश को मंजूरी दे दी है. बता दें कि सितंबर 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने कई चीजों के लिए आधार की अनिवार्यता को खत्म कर दिया था और सरकार को इसके स्वैच्छिक इस्तेमाल के लिए आधार कानून में बदलाव लाने का आदेश दिया था.

शनिवार को जारी हुआ था अध्यादेश

आधार के नए बदलावों को लेकर अध्यादेश शनिवार को जारी किया गया था. इससे संबंधित विधेयक लोकसभा में पारित होने के बाद राज्यसभा में पारित नहीं हो पाया, जिसकी वजह से सरकार को यह अध्यादेश लाना पड़ा. मंत्रिमंडल ने आधार और दो अन्य विधेयकों में प्रस्तावित बदलावों को अमल में लाने के लिए पिछले सप्ताह अध्यादेश लाने को मंजूरी दे दी थी. संशोधन में आधार के इस्तेमाल एवं निजता से जुड़े नियमों के उल्लंघन के लिए कड़े दंड का प्रावधान है.

अध्यादेश में किसी व्यक्ति द्वारा प्रमाणन के लिए दी गई बायोमेट्रिक डिटेल्स और आधार नंबर का सर्विस प्रोवाइडर्स द्वारा अपने पास जमा रखे जाने को प्रतिबंधित किया गया है. अध्यादेश के जरिए आधार कानून में यह बदलाव भी किया गया है कि कोई भी बच्चा 18 साल का हो जाने के बाद आधार प्रोग्राम से बाहर निकलने का विकल्प चुन सकता है.

नियमों के उल्लंघन पर 1 करोड़ तक का जुर्माना, अवैध इस्तेमाल पर केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना जेल

इसमें प्रावधानों का उल्लंघन करने वाले निकायों पर एक करोड़ रुपये तक का आर्थिक जुर्माना और अनुपालन नहीं करना जारी रखने की स्थिति में प्रति दिन 10 लाख रुपये के अतिरिक्त जुर्माने का प्रावधान है. आधार के अवैध इस्तेमाल की स्थिति में तीन साल तक की कैद और 10 हजार रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान किया है. यदि अवैध इस्तेमाल करने वाला निकाय कोई कंपनी हुई तो जुर्माना एक लाख रुपये तक हो सकता है. अध्यादेश के जरिए आधार कानून की धारा 57 को हटा दिया गया है. यह धारा निजी कंपनियों, इकाइयों द्वारा आधार के इस्तेमाल से जुड़ी है.

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बैंक अकाउंट खुलवाने और सिम लेने में Aadhaar हुआ स्वैच्छिक, राष्ट्रपति ने अध्यादेश को दी मंजूरी

बैंक अकाउंट खुलवाने और सिम लेने में Aadhaar हुआ स्वैच्छिक, राष्ट्रपति ने अध्यादेश को दी मंजूरी

सितंबर 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने कई चीजों के लिए आधार की अनिवार्यता को खत्म कर दिया था. (PTI)

अब बैंक खाता खुलवाने और मोबाइल सिम कार्ड लेने के लिए आधार (Aadhaar) का ID कार्ड के तौर पर स्वैच्छिक इस्तेमाल किया जा सकेगा. राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने आधार के इस तरह के इस्तेमाल को मान्यता देने वाले अध्यादेश को मंजूरी दे दी है. बता दें कि सितंबर 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने कई चीजों के लिए आधार की अनिवार्यता को खत्म कर दिया था और सरकार को इसके स्वैच्छिक इस्तेमाल के लिए आधार कानून में बदलाव लाने का आदेश दिया था.

शनिवार को जारी हुआ था अध्यादेश

आधार के नए बदलावों को लेकर अध्यादेश शनिवार को जारी किया गया था. इससे संबंधित विधेयक लोकसभा में पारित होने के बाद राज्यसभा में पारित नहीं हो पाया, जिसकी वजह से सरकार को यह अध्यादेश लाना पड़ा. मंत्रिमंडल ने आधार और दो अन्य विधेयकों में प्रस्तावित बदलावों को अमल में लाने के लिए पिछले सप्ताह अध्यादेश लाने को मंजूरी दे दी थी. संशोधन में आधार के इस्तेमाल एवं निजता से जुड़े नियमों के उल्लंघन के लिए कड़े दंड का प्रावधान है.

अध्यादेश में किसी व्यक्ति द्वारा प्रमाणन के लिए दी गई बायोमेट्रिक डिटेल्स और आधार नंबर का सर्विस प्रोवाइडर्स द्वारा अपने पास जमा रखे जाने को प्रतिबंधित किया गया है. अध्यादेश के जरिए आधार कानून में यह बदलाव भी किया गया है कि कोई भी बच्चा 18 साल का हो जाने के बाद आधार प्रोग्राम से बाहर निकलने का विकल्प चुन सकता है.

नियमों के उल्लंघन पर 1 करोड़ तक का जुर्माना, अवैध इस्तेमाल पर जेल

इसमें प्रावधानों का उल्लंघन करने वाले निकायों पर एक करोड़ रुपये तक का आर्थिक जुर्माना और अनुपालन नहीं करना जारी रखने की स्थिति में प्रति दिन 10 लाख रुपये के अतिरिक्त जुर्माने का प्रावधान है. आधार के अवैध इस्तेमाल की स्थिति में तीन साल तक की कैद और 10 हजार रुपये तक के जुर्माने का प्रावधान किया है. यदि अवैध इस्तेमाल करने वाला निकाय कोई कंपनी हुई तो जुर्माना एक केनरा दीया का उपयोग करके ऑनलाइन एसबीआई खाता खोलना लाख रुपये तक हो सकता है. अध्यादेश के जरिए आधार कानून की धारा 57 को हटा दिया गया है. यह धारा निजी कंपनियों, इकाइयों द्वारा आधार के इस्तेमाल से जुड़ी है.

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