9 जुलाई 2021 को एक यूरो का दाम था ₹88.43 और अब ₹80.81
रुपये से देश की इज़्ज़त गिर रही है क्या?
दो महीने पहले मैंने रुपये का हिसाब किताब लिखा था तब एक अमेरिकी डॉलर ₹78 की तरफ़ बढ़ रहा था और अब ₹80 की तरफ़. रिसर्च फ़र्म नोमूरा ने कहा है कि रुपया इस साल के आख़िर तक गिरकर डॉलर के मुक़ाबले ₹82 तक पहुँच जाएगा. हर रोज़ हम ट्विट, ताने और हेडलाइन देख रहे हैं कि रुपया गिरने का नया रेकॉर्ड बना रहा है. मैंने पिछली बार भी बताया था कि कैसे बीजेपी ने दस साल पहले रुपये को तब के प्रधानमंत्री की उम्र से जोड़ दिया था और अब वही काम कांग्रेस कर रही हैं, लेकिन क्या रुपये का दाम गिरने से देश की इज़्ज़त गिरती है तो इसका जवाब बिज़नेस के दो बड़े पत्रकारों ने दिया है कि नहीं, देश की इज़्ज़त से रुपये को मत जोड़िए. ये बात बिज़नेस स्टैंडर्ड के चेयरमैन टीएन नैनन ने लिखी है और क्विंट के मुख्य संपादक राघव बहल ने.
टीएन नैनन ने लिखा है कि पी चिदंबरम जब वित्त मंत्री थे तो ऐसी हेडलाइन से बहुत चिढ़ते थे कि रुपये में रिकॉर्ड गिरावट हुई है. वो इसे वित्त मंत्री के तौर पर अपने काम से जोड़कर देखते थे. अब वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण भी यही दुहाई दे रही है कि डॉलर के मुक़ाबले रुपया गिरा तो है लेकिन बाक़ी करेंसी के मुक़ाबले गिरावट कम हुई है. इसमें सच्चाई भी है.
Stock Market: अमेरिका में आर्थिक मंदी के संकेतों के बाद भी हमारे शेयर बाजार में उछाल क्यों आई?
कहा जाता है कि अगर अमेरिका को छींक आती है तो पूरी दुनिया को जुकाम हो जाता है. भारतीय शेयर बाजार में लगातार तीसरे दिन तेजी आई है और हर किसी के मन में यह सवाल है कि क्या शेयरों में तेजी जारी रहने वाली है?
अमेरिका की अर्थव्यवस्था का आर्थिक मंदी के दौर में फंसना भारत के लिए अच्छी खबर नहीं है, यह दुनिया भर के लिए अच्छी खबर नहीं है. शेयर बाजार के एक्सपर्ट का कहना है कि इस समय जीडीपी के आंकड़ों पर बहुत ज्यादा ध्यान देने की जरूरत इसलिए नहीं है क्योंकि अन्य आंकड़े यह बता रहे हैं कि दुनिया की सबसे बड़ी कंजूमर इकोनामी में सब कुछ ठीक-ठाक चल रहा है.
नेपाल की अर्थव्यवस्था डगमगाई, विदेशों से ये चीजें मंगाने पर बैन, बैंकों को संभलकर लोन देने की सलाह
aajtak.in
- नई दिल्ली,
- 10 अप्रैल 2022,
- (अपडेटेड 10 अप्रैल 2022, 2:39 PM IST)
- डूबती अर्थव्यवस्था को बचाने के लिए आयात पर बैन
- रेडीमेड कपड़े के आयात पर पाबंदी
कहावत है. पड़ोसी से दोस्ती रहे या ना रहे, वो क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? खुशहाल रहे, तो समाज खुशहाल रहता है. लेकिन भारत के पड़ोसी देशों के साथ ऐसा नहीं है. श्रीलंका (Sri Lanka) की अर्थव्यवस्था (Economy) चौपट हो गई है, महंगाई चरम पर पहुंच गई है. एक कप चाय के लिए लोगों को 100 रुपये (श्रीलंकाई करेंसी) चुकाने पड़ रहे हैं. देश का विदेशी मुद्रा भंडार निगेटिव हो गया है.
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बता दें, आयातित पेट्रोलियम के लिए नेपाल सरकार हर महीने भारत को 24-29 अरब रुपये का भुगतान करता है.
इस बीच अब नेपाल की सरकार ने विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट को रोकने के लिए विलासिता की वस्तुओं (Luxury Items) के आयात पर बैन लगा दिया है. इस समय नेपाल सरकार के सामने सबसे बड़ी चुनौती विदेशी मुद्रा भंडार का सही से क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? प्रबंधन करना है. काठमांडू से छपने वाले अंग्रेजी अखबार myRepublica ने क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? 7 अप्रैल को NRB के प्रवक्ता गुनाकर भट्टा से बातचीत के आधार पर ये रिपोर्ट पब्लिश की है.
विदेशी मुद्रा भंडार में गिरावट जारी
उन्होंने कहा कि सरकार लग्जरी वस्तुओं के इम्पोर्ट पर बैन लगाकर हालात को सुधारने की कोशिश कर रही है. क्योंकि विदेशी मुद्रा भंडार लगातार घट रहा है. इसलिए ये कदम तुरंत उठाने का फैसला लिया गया है. उन्होंने कहा कि अंदरुनी हालात को सुधारने के लिए कुछ वस्तुओं के आयात को रोकना पड़ा है.
22 प्रति डॉलर के सर्वकालिक निचले स्तर पर पहुंचने के बाद रुपया 15 पैसे मज़बूत हुआ
बीते बुधवार को रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 78.22 के रिकॉर्ड निचले स्तर पर बंद हुआ था. हालांकि बृहस्पतिवार को शुरुआती कारोबार में रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 15 पैसे मज़बूत होकर 78.07 पर पहुंच गया. अमेरिका के केंद्रीय बैंक ने मुद्रास्फीति से निपटने के लिए ब्याज दरों में 0.75 फीसदी (75 आधार अंक) की वृद्धि की तथा इस दिशा में क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? और क़दम उठाने के संकेत दिए जिससे रुपये को मज़बूती मिली. The post 78.22 प्रति डॉलर के सर्वकालिक निचले स्तर क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? पर पहुंचने के बाद रुपया 15 पैसे मज़बूत हुआ appeared first on The Wire - Hindi.
बीते बुधवार को रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 78.22 के रिकॉर्ड निचले स्तर पर बंद हुआ था. हालांकि बृहस्पतिवार को शुरुआती कारोबार में रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 15 पैसे मज़बूत होकर 78.07 पर पहुंच गया. अमेरिका के केंद्रीय बैंक ने मुद्रास्फीति से निपटने के लिए ब्याज दरों में 0.75 फीसदी (75 आधार अंक) क्या विदेशी मुद्रा बाजार हर समय खुला रहता है? की वृद्धि की तथा इस दिशा में और क़दम उठाने के संकेत दिए जिससे रुपये को मज़बूती मिली.
(प्रतीकात्मक फोटो: रॉयटर्स)
मुंबई: विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में बुधवार को अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले रुपया 18 पैसे की बड़ी गिरावट के साथ सर्वकालिक निचले स्तर 78.22 प्रति डॉलर पर बंद हुआ.
इस गिरावट के बाद आज (बृहस्पतिवार) शुरुआती कारोबार में रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 15 पैसे मजबूत होकर 78.07 पर पहुंच गया. अमेरिका के केंद्रीय बैंक ने मुद्रास्फीति से निपटने के लिए ब्याज दरों में 0.75 फीसदी (75 आधार अंक) की वृद्धि की तथा इस दिशा में और कदम उठाने के संकेत दिए जिससे रुपये को मजबूती मिली.
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